उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के कुशल नेतृत्व में परिवहन क्षेत्र में बड़े बदलाव देखे जा रहे हैं। गांवों से लेकर शहरों और अन्य राज्यों को जोड़ने के लिए प्रदेश में सड़कों का व्यापक विस्तार किया गया है। सरकार ने ग्रामीण इलाकों से वस्तुओं को शहरों और मंडियों तक पहुंचाने के लिए परिवहन की सर्वोत्तम व्यवस्था की है। प्रदेश में यमुना एक्सप्रेसवे, आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे, पूर्वांचल एक्सप्रेसवे, बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे और ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेसवे के संचालन से यातायात में काफी सुधार हुआ है। इन एक्सप्रेसवे से यात्रा का समय घटा है और व्यापार के अवसर बढ़े हैं। गोरखपुर-आजमगढ़ लिंक एक्सप्रेसवे भी जल्द शुरू होने वाला है, जिससे इस क्षेत्र के आर्थिक विकास को बढ़ावा मिलेगा। इसके अलावा, गंगा एक्सप्रेसवे, बलिया लिंक एक्सप्रेसवे और चित्रकूट लिंक एक्सप्रेसवे जैसे नए प्रोजेक्ट्स राज्य में लॉजिस्टिक्स को और सुगम बनाएंगे। प्रदेश में प्रयागराज, कानपुर, आगरा, बरेली, हिंडन, अलीगढ़, आजमगढ़, चित्रकूट, मुरादाबाद और गोरखपुर समेत 16 घरेलू हवाई अड्डे संचालित हो रहे हैं। लखनऊ, अयोध्या, कुशीनगर और वाराणसी के अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे उत्तर प्रदेश को वैश्विक स्तर पर जोड़ रहे हैं। जेवर में नोएडा अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के निर्माण के पूरा होने पर उत्तर प्रदेश देश का पहला ऐसा राज्य होगा, जहां पांच अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे होंगे। दिल्ली-गाजियाबाद-मेरठ रैपिड रेल ट्रांसपोर्ट सिस्टम से राज्य में परिवहन को नया आयाम मिला है। साथ ही, उत्तर प्रदेश सरकार ने वेयरहाउसिंग और लॉजिस्टिक्स नीति-2022 के तहत प्रदेश को उत्तर भारत के प्रमुख लॉजिस्टिक्स हब में बदलने का काम किया है।
Author: Sweta Sharma
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