सुकांत मजूमदार बोले– टीएमसी रोहिंग्या और बांग्लादेशी वोट बैंक बचाना चाहती है
नई दिल्ली। बिहार में चल रहे विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) अभियान को लेकर देश की सियासत गर्मा गई है। इस बीच केंद्रीय मंत्री सुकांत मजूमदार ने बुधवार को तृणमूल कांग्रेस पर बड़ा आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि टीएमसी का इस विरोध प्रदर्शन में शामिल होना यह दर्शाता है कि वह अपने “रोहिंग्या और बांग्लादेशी वोट बैंक” को बचाना चाहती है।
मजूमदार ने एएनआई से बातचीत में कहा, “टीएमसी हमेशा से ऐसा करती रही है, क्योंकि उन्हें पता है कि उनका वोट बैंक रोहिंग्या और बांग्लादेश से आए मुसलमानों पर आधारित है। इसलिए वे नहीं चाहते कि उनका नाम मतदाता सूची से हटे। चुनाव आयोग को इस पर ध्यान देना चाहिए।” उन्होंने वाम मोर्चे पर भी हमला करते हुए कहा कि सीपीआई (एम) की सत्ता के दौरान भी चुनाव आयोग को लेकर सवाल खड़े किए गए थे। “बंगाल चैप्टर के नेता बिमान बोस और अन्य ने तब आयोग पर टिप्पणी की थी, जिसके बाद आयोग ने उन्हें कारण बताओ नोटिस जारी किया था,” उन्होंने जोड़ा। इससे पहले, टीएमसी ने आरोप लगाया था कि भाजपा शासित राज्यों में बंगाली मूल के भारतीयों के साथ दुर्व्यवहार किया जा रहा है। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने पश्चिम बंगाल से बाहर काम करने वाले प्रवासी मजदूरों को समर्थन देने के लिए राज्य में रैली भी निकाली थी।
बुधवार को टीएमसी नेता बिहार में SIR के खिलाफ चल रहे इंडिया ब्लॉक के विरोध प्रदर्शन में शामिल हुए। प्रदर्शन में कांग्रेस नेता सोनिया गांधी, प्रियंका गांधी, प्रमोद तिवारी और मणिकम टैगोर भी मौजूद थे। संसद के मकर द्वार पर हुए इस प्रदर्शन में कई सांसदों ने चुनाव आयोग की भूमिका पर सवाल उठाते हुए पोस्टर और कार्टून भी दिखाए। टीएमसी ने बीते कुछ दिनों में बंगालियों के साथ कथित भेदभाव को लेकर अलग-अलग राज्यों में विरोध दर्ज कराया है, लेकिन इस बार वे विपक्षी एकता के साथ खड़े नजर आए। चुनाव आयोग की चुप्पी और राजनीतिक बयानबाज़ी के बीच, SIR अब एक बड़ा चुनावी मुद्दा बनता जा रहा है।

Author: Sweta Sharma
I am Sweta Sharma, a dedicated reporter and content writer, specializes in uncovering truths and crafting compelling news, interviews, and features.