लंदन में एक कार्यक्रम “विश्व में भारत का उदय और भूमिका” में भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कश्मीर घाटी को लेकर भारत सरकार के कदमों पर विस्तार से बात की। उन्होंने अनुच्छेद 370 हटाने, विकास, आर्थिक गतिविधियों के विस्तार और जम्मू-कश्मीर में चुनाव संपन्न कराने जैसे महत्वपूर्ण पहलुओं को रेखांकित किया।
एस जयशंकर ने कहा,
“कश्मीर के अधिकांश मुद्दों को सुलझाने में हमने बेहतरीन काम किया है। अनुच्छेद 370 को हटाना एक ऐतिहासिक कदम था, जिससे कश्मीर में विकास और सामाजिक न्याय को बढ़ावा मिला।”
उन्होंने आगे कहा कि जम्मू-कश्मीर में सफलतापूर्वक चुनाव कराना और भारी संख्या में मतदान होना सरकार की नीतियों की सफलता को दर्शाता है।
एस जयशंकर ने पाक अधिकृत कश्मीर (पीओके) पर भी बड़ा बयान दिया। उन्होंने कहा,
“कश्मीर का मसला तब पूरी तरह हल होगा, जब अवैध रूप से कब्जे में रखा गया कश्मीर का हिस्सा भारत को वापस मिलेगा। जैसे ही यह होगा, मैं आपको आश्वासन देता हूं कि कश्मीर विवाद समाप्त हो जाएगा।”
भारत-चीन संबंधों पर सवाल के जवाब में विदेश मंत्री ने कहा कि दोनों देश अत्यंत विशिष्ट संबंध साझा करते हैं। उन्होंने कहा,
“हम दुनिया के दो सबसे अधिक आबादी वाले देश हैं, हमारा इतिहास बहुत पुराना है। दोनों देशों के बीच समय के साथ संबंधों में उतार-चढ़ाव आए हैं, लेकिन हम सीधे पड़ोसी हैं और तेजी से आगे बढ़ रहे हैं।”
उन्होंने आगे कहा कि जैसे-जैसे देश आगे बढ़ते हैं, उनके वैश्विक और क्षेत्रीय संतुलन में बदलाव आते हैं। भारत-चीन जैसे बड़े और प्रभावशाली देशों के बीच समन्वय और संतुलन बनाए रखना महत्वपूर्ण है।
Author: Sweta Sharma
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