पत्नी का न्यायिक कदम
“देशद्रोही” आरोपों पर प्रतिक्रिया
एनएसए गिरफ्तारी और वर्तमान हाल
पर्यावरणविद और शिक्षाविद सोनम वांगचुक की पत्नी गीतांजलि अंगमो ने सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दाखिल कर अपने पति की रिहाई की मांग की है। वांगचुक को 26 सितंबर को लद्दाख में हुई हिंसक झड़पों के बाद राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) के तहत गिरफ्तार किया गया था और उन्हें जोधपुर जेल भेज दिया गया है।
गीतांजलि ने अपने पति की गिरफ्तारी को चुनौती देते हुए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी हस्तक्षेप की अपील की है। उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, लद्दाख के उपराज्यपाल कविंदर गुप्ता, केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल और लेह जिला कलेक्टर को भी पत्र लिखा और इसे सार्वजनिक रूप से साझा किया।
गीतांजलि का आरोप है कि सरकार उनके पति को “देशद्रोही” के रूप में पेश करके बदनाम करने का प्रयास कर रही है। उन्होंने कहा कि सोनम वांगचुक ने पाकिस्तान में एक सम्मेलन में भाग लिया था, जो जलवायु परिवर्तन पर था, और इसमें कुछ भी अनुचित नहीं था। उनका कहना है कि यह आरोप छठी अनुसूची के आंदोलन को कमजोर करने का प्रयास है।
इस घटना के संदर्भ में, लेह में प्रदर्शन और हिंसा के कारण प्रशासन ने कई प्रतिबंध लगाए थे। इस हिंसा में कम से कम चार लोगों की मौत हुई थी और कुल 44 लोगों को गिरफ्तार किया गया था। गीतांजलि का यह कदम एक व्यापक कानूनी और सामाजिक लड़ाई का हिस्सा बन चुका है, जिसमें वह अपने पति की राजनीतिक और व्यक्तिगत प्रतिष्ठा दोनों की रक्षा करना चाहती हैं।
