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अयोध्या में राम दरबार का भव्य प्राण प्रतिष्ठा समारोह सम्पन्न

अयोध्या – हजारों श्रद्धालुओं की मौजूदगी में अयोध्या एक बार फिर राममय हो उठी। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने 53वें जन्मदिवस पर भगवान श्रीराम की नगरी अयोध्या पहुंचकर श्रीराम जन्मभूमि मंदिर में पूजा-अर्चना की और राम दरबार की प्राण प्रतिष्ठा अनुष्ठान में हिस्सा लिया। यह अवसर भारत के सांस्कृतिक और आध्यात्मिक इतिहास में एक नए युग की शुरुआत के रूप में देखा जा रहा है।

नेपाल की श्रद्धालु उत्तम कुमारी शेलुवाल ने मंदिर परिसर में दर्शन के बाद कहा, “हम भगवान श्रीराम के दर्शन करने अयोध्या आए हैं। यह हमारे लिए सौभाग्य की बात है। माता जानकी और प्रभु श्रीराम हमारे आराध्य हैं और हम इस नगरी में आकर अभिभूत हैं।”

5 जून को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का जन्मदिन होने के बावजूद, उन्होंने इसे अयोध्या में श्रीराम के चरणों में समर्पित कर एक ऐतिहासिक संदेश दिया। उन्होंने श्रीराम जन्मभूमि मंदिर के प्रथम तल पर आयोजित प्राण प्रतिष्ठा अनुष्ठान में भाग लिया, जहाँ भगवान श्रीराम, माता सीता, भरत, लक्ष्मण, शत्रुघ्न और हनुमानजी की वैदिक विधि से प्राण प्रतिष्ठा की गई।

मुख्यमंत्री ने पूजा के पश्चात श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए कहा,
“प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत ने अपने सांस्कृतिक गौरव को पुनः स्थापित किया है। राम जन्मभूमि केवल एक मंदिर नहीं, बल्कि भारत की आत्मा का प्रतीक है। इस महान अवसर पर मैं देश और दुनिया भर के सभी सनातन धर्मावलंबियों को बधाई देता हूं।”

इस ऐतिहासिक दिन पर योगी आदित्यनाथ ने हनुमानगढ़ी मंदिर में भी जाकर दर्शन किए और पूजा की। राम दरबार के आसपास स्थित अन्य मंदिरों में भी उन्होंने वैदिक मंत्रोच्चारण और हवन के साथ पूजा-अर्चना की।

तीन दिवसीय महायज्ञ के अंतिम दिन सुबह 6:30 बजे देवताओं की पूजा के साथ आरंभ हुआ कार्यक्रम दो घंटे तक चला। इसके बाद 9 बजे से यज्ञ-हवन आरंभ हुआ जो लगभग एक घंटे तक चला। कार्यक्रम के दौरान श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के अध्यक्ष महंत नृत्य गोपाल दास, महासचिव चंपत राय, स्वामी गोविंद देव गिरि महाराज सहित कई प्रमुख संत और गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।

मुख्यमंत्री योगी ने पुष्पवाटिका में एकत्र श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए ट्रस्ट के सभी पदाधिकारियों का आभार प्रकट किया और कहा कि यह केवल एक धार्मिक अनुष्ठान नहीं, बल्कि भारत की सनातन चेतना के जागरण का प्रतीक है।

Sweta Sharma
Author: Sweta Sharma

I am Sweta Sharma, a dedicated reporter and content writer, specializes in uncovering truths and crafting compelling news, interviews, and features.

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