उत्तर प्रदेश के कई जिलों में हो रही लगातार भारी बारिश ने आम जनजीवन को प्रभावित कर दिया है। वाराणसी, प्रयागराज और मुरादाबाद जैसे शहरों में जलभराव की स्थिति बन गई है, वहीं गंगा नदी के जलस्तर में तेज़ी से वृद्धि होने से कई घाट जलमग्न हो गए हैं।
वाराणसी में गंगा का पानी मणिकर्णिका घाट तक पहुंच गया है और घाट का अधिकांश हिस्सा डूब चुका है। पास के एक मंदिर में भी पानी भर गया है। प्रयागराज में भी रामघाट पूरी तरह जलमग्न हो चुका है। स्थानीय लोगों ने बताया कि हर साल जुलाई से सितंबर के बीच यह स्थिति बनी रहती है और इस बार भी कम से कम दो महीने तक जलस्तर ऊंचा रह सकता है।
मुरादाबाद में भी हालात चिंताजनक बने हुए हैं। भोलानाथ कॉलोनी समेत कई इलाकों में नाले और बारिश का पानी घरों में घुस गया है। एक निवासी ने बताया कि 15-20 घर पानी में डूब गए हैं। मुरादाबाद के अतिरिक्त नगर आयुक्त अजीत कुमार ने बताया कि शहर के 90% हिस्से में जलभराव की समस्या नहीं है क्योंकि 20 मई से पहले ही सभी नालों की सफाई कर दी गई थी। हालांकि, अनधिकृत और निचली कॉलोनियों जैसे भोलानाथ कॉलोनी में अतिक्रमण के कारण जलभराव की स्थिति उत्पन्न हो गई है।
मौसम विभाग (IMD) के अनुसार, 7 से 10 जुलाई के बीच पश्चिमी यूपी, उत्तराखंड, पंजाब, हरियाणा और राजस्थान में भारी से बहुत भारी वर्षा की संभावना है। मुरादाबाद और कासगंज में 15 सेमी, अलीगढ़ में 12 सेमी, संभल में 9 सेमी बारिश होने की चेतावनी जारी की गई है।

Author: Sweta Sharma
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