उत्तर प्रदेश में सुरक्षा व्यवस्था को लेकर एक बार फिर सख्ती बरती जा रही है। नेपाल सीमा से सटे जिलों के साथ-साथ दिल्ली-एनसीआर के आसपास के इलाकों में हाई अलर्ट घोषित किया गया है। खुफिया एजेंसियों ने संदिग्ध गतिविधियों को लेकर आगाह किया है, जिसके बाद डीजीपी प्रशांत कुमार के निर्देश पर कई जिलों में पुलिसकर्मियों की छुट्टियां रद्द कर दी गई हैं। लखनऊ, नोएडा, गाजियाबाद जैसे संवेदनशील जिलों में पहले से छुट्टी पर गए पुलिसकर्मियों को भी तत्काल ड्यूटी पर लौटने का आदेश दिया गया है।
खास बात यह है कि नेपाल सीमा पर पूरी तरह चेकिंग व्यवस्था सख्त कर दी गई है। एसएसबी और स्थानीय पुलिस के सहयोग से सीमावर्ती जिलों में होटलों, बाजारों, सार्वजनिक स्थलों और मुख्य मार्गों पर सतत चेकिंग अभियान चलाया जा रहा है। किसी भी व्यक्ति को बिना जांच के सीमा पार करने की अनुमति नहीं है।
सुरक्षा एजेंसियां इस समय खाड़ी देशों से होने वाली कॉल्स और डिजिटल संचार की भी गहराई से जांच कर रही हैं। आशंका है कि मौजूदा अंतरराष्ट्रीय तनाव का फायदा उठाकर कुछ आतंकी संगठन प्रदेश में अशांति फैलाने की कोशिश कर सकते हैं। विशेषकर दिल्ली से सटे जिलों में संदिग्ध मॉड्यूल्स की तलाश की जा रही है ताकि किसी भी संभावित घटना को समय रहते रोका जा सके।
प्रदेश सरकार ने भारत-पाक सीमा से सटे राज्यों की स्थिति पर भी कड़ी नजर बनाए रखी है। वहीं, सभी सैन्य ठिकानों, एयरबेस, प्रमुख सरकारी इमारतों, धार्मिक स्थलों पर सुरक्षा और कड़ी कर दी गई है। बीते दिनों सरकार द्वारा खरीदे गए एंटी-ड्रोन सिस्टम भी कई संवेदनशील स्थलों पर तैनात कर दिए गए हैं।
साइबर हमलों से बचाव के लिए सामरिक महत्व के इलाकों के आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों की सुरक्षा समीक्षा की जा रही है। कुछ स्थानों से कैमरे हटाए भी जा रहे हैं।
इसी क्रम में आयुष विभाग ने भी अपनी तैयारियां तेज कर दी हैं। आयुष राज्य मंत्री डॉ. दयाशंकर मिश्र ‘दयालु’ ने विभागीय अधिकारियों और कर्मचारियों को अग्रिम आदेशों तक अवकाश नहीं देने का निर्देश जारी किया है।

Author: Sweta Sharma
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