वृक्षारोपण को बेहतर तरीके से करने के लिए अभी से स्थान चिन्हित कर लिए जायें
शहरों में हरियाली के साथ सुन्दरता बढ़ाने के लिए मियावाकी वन, उद्यान, नक्षत्र वाटिका, पंचवटी बनाने के लिए फलदार एवं फूलदार पौधे रोपित किये जाये
पौधरोपण के बाद पौधों के रखरखाव पर विशेष ध्यान दिया जाये – नगर विकास मंत्री श्री ए0के0 शर्मा
मा0 मुख्यमंत्री जी के निर्देश पर प्रदेश सरकार इस वर्ष 37 करोड़ से अधिक पौधों का करेगी रोपण
प्रदेश जितना हराभरा होगा वातावरण उतना ही जीवन के अनुकूल होगा -वन मंत्री डा0 अरूण कुमार सक्सेना
उत्तर प्रदेश के नगर विकास एवं ऊर्जा मंत्री श्री ए0के0 शर्मा ने राज्य के सभी 762 नगरीय निकायों में हरियाली को और भी बढ़ाने के लिए आगामी वृक्षारोपण कार्यक्रम के दौरान नगर विकास को 35 लाख पौधरोपण के लक्ष्य को बेहतर तरीके से पूरा करने के लिए अभी से स्थान चिन्हित करने के निर्देश दिए। नगरीय क्षेत्रों में स्थापित कान्हा गोशाला परिसर, साफ किये गये कूड़ा स्थलों, सड़क किनारे की खाली जगहों, सार्वजनिक भवनों व स्थल परिसर, धार्मिक, पौराणिक व ऐतिहासिक स्थलों के आसपास तथा नगरीय क्षेत्रों के चौराहों व प्रवेश द्वार को और सुन्दर बनाने के लिए पौधरोपण किया जाये। शहरों में मियावाकी वन, उद्यान, नक्षत्र वाटिका, पंचवटी बनाने के लिए फलदार एवं फूलदार पौधे रोपित किये जाये।
नगर विकास मंत्री श्री ए0के0 शर्मा शुक्रवार को जल निगम के फील्ड हॉस्टल संगम, लखनऊ में पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डा0 अरूण कुमार सक्सेना के साथ वृक्षारोपण महाभियान-2025 की तैयारियों के संबंध में वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से समीक्षा की और आवश्यक निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि प्रदेश के नगरीय निकायों को वैश्विक स्तर का बनाने के लिए शहरों को हरा-भरा करना होगा जिससे शहरों की वायुगुणवत्ता, मानव स्वास्थ में सुधार हो और ग्रीन हाउस गैसों के उत्सर्जन में कमी आये। उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय स्वच्छ वायु कार्यक्रम के अन्तर्गत 2019 को आधार वर्ष मानते हुए 2026 तक पी.एम. 2.5 और पी.एम. 10 के स्तर में 40 प्रतिशत की कमी लाने का लक्ष्य है। प्रदेश में बढ़ते शहरीकरण से नागरिकों को बेहतर सुविधाएं देने की चुनौतियां हैं। लेकिन बेहतर रणनीति बनाकर एवं योजनाओं को समय पर धरातल पर उतारकर इसे आसान बना सकते हैं।

नगर विकास मंत्री ने नगरीय क्षेत्रों में पौधरोपण के लिए स्थल का चिन्हीकरण करने, पौधरोपण के बाद पौधों के रखरखाव पर विशेष ध्यान देने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि ‘‘मां के नाम एक पेड़‘‘ की भावना पर तथा मन्दिरों में प्रसाद के रूप में पौधे दिए जाये जिससे लोगों को ऐसे पौधों को रोपने के बाद विशेष लगाव रहे और वे जीवन पर्यन्त उनकी देखभाल करते रहें। उन्होंने विद्युत विभाग के अधिकारियों को भी निर्देश दिए कि विद्युत परिसरों के खाली स्थानों पर भी पौधरोपण कर हरियाली बढ़ायें।
पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डा0 अरूण कुमार सक्सेना ने बताया कि प्रदेश सरकार का इस वर्ष 37 करोड़ पौधरोपण का लक्ष्य है। इसके लिए मा0 मुख्यमंत्री जी के निर्देशन में व्यापक तैयारियां की जा रहीं हैं और 09 जुलाई 2025 को पूरे प्रदेश में वृक्षारोपण महाभियान-2025 को वृहद स्तर पर पौधरोपण कर मनाया जायेगा। इसके लिए संबंधित विभागों को सौपें गए निर्धारित लक्ष्य के सापेक्ष वन विभाग द्वारा पौधे उपलब्ध कराए जा रहे हैं। संबंधित विभागों की जिम्मेदारी होगी की रोपे गए पौधों का पूर्णतया रखरखाव करें जिससे वे वातावरण अनुकूल हो सकें। प्रदेश जितना हराभरा होगा वातावरण उतना ही जीवन के अनुकूल होगा और हमारा प्रदेश सभी परिस्थितियों में आगे बढ़ेगा, प्रदेशवासियों को उत्तम स्वास्थ्य मिलेगा और भावी पीढ़ी को स्वच्छ वातावरण के साथ उज्ज्वल भविष्य मिलेगा जिससे हम प्रदेश की वन ट्रिलियन डॉलर इकॉनामी के लक्ष्य को भी बड़ी सहजता से हासिल कर सकें।
बैठक में प्रमुख सचिव नगर विकास श्री अमृत अभिजात, चेयरमैन यूपीपीसीएल श्री आशीष गोयल, प्रधान मुख्य वन संरक्षक श्री बी0 प्रभाकर अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक श्री राम कुमार, नगर विकास सचिव एवं निदेशक श्री अनुज कुमार झॉ सहित विभागीय वरिष्ठ अधिकारीगण उपस्थित थे और सभी निकायों के नगर आयुक्त, अधिशाषी अधिकारियों ने वर्चुअल प्रतिभाग किया।
Author: Sweta Sharma
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