उत्तर प्रदेश सरकार ने प्रयागराज में आयोजित होने वाले महाकुंभ 2025 को लेकर पटना में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस का आयोजन किया। इस दौरान यूपी के कैबिनेट मंत्री राकेश सचान और परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह मौजूद रहे। दोनों मंत्रियों ने बिहारवासियों को महाकुंभ में शामिल होने का विशेष निमंत्रण दिया।
महाकुंभ 2025 के मुख्य बिंदु
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महाकुंभ का आयोजन 13 जनवरी से 26 फरवरी 2025 तक किया जाएगा।
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इस धार्मिक आयोजन में 45 करोड़ श्रद्धालुओं के शामिल होने की संभावना है।
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महाकुंभ को केवल स्नान नहीं, बल्कि “एकता का प्रतीक” बताया गया।
व्यवस्थाओं का विवरण
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अस्थाई अस्पताल: कुंभ क्षेत्र में 100 बेड का अस्थाई अस्पताल बनाया जाएगा, जिसमें 24 घंटे डॉक्टर उपलब्ध रहेंगे।
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आवास और परिवहन: महाकुंभ क्षेत्र में 15 किलोमीटर तक लोगों के रहने और आने-जाने की सुविधा सुनिश्चित की गई है।
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सुरक्षा: आयोजन स्थल पर 200 से अधिक कमरे और वाहन निगरानी प्रणाली तैनात की जाएगी।
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भंडारा: सभी आम लोगों के लिए विशेष भंडारे की व्यवस्था की गई है।
बिहारवासियों के लिए निमंत्रण
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यूपी सरकार ने बिहारवासियों को महाकुंभ में शामिल होने का खुला निमंत्रण दिया।
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विपक्ष के नेता लालू प्रसाद यादव सहित सभी धर्मों और समुदायों के लोगों को आमंत्रित किया गया है।
राकेश सचान का बयान
मंत्री राकेश सचान ने कहा, “महाकुंभ केवल एक नदी स्नान का कार्यक्रम नहीं है, यह सनातन धर्म और एकता का प्रतीक है। जब कुंभ शुरू हुआ था, तब कोई धर्म नहीं था, सिर्फ सनातन था।”
महाकुंभ का महत्व
महाकुंभ मेला हर 12 वर्षों में आयोजित होता है और इसे दुनिया का सबसे बड़ा धार्मिक आयोजन माना जाता है। यूपी सरकार का दावा है कि इस बार प्रयागराज महाकुंभ 2025 ऐतिहासिक और यादगार होगा।
उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा बिहार के नागरिकों के लिए महाकुंभ में शामिल होने का निमंत्रण इस आयोजन को एक धार्मिक और सांस्कृतिक उत्सव के रूप में पेश करने की दिशा में बड़ा कदम है। कुंभ मेले की तैयारियों से यह आयोजन दुनिया भर के श्रद्धालुओं के लिए खास बनने जा रहा है।

Author: Sweta Sharma
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